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Bhagavad Gita Chapter 12: Bhakti Yoga in Hindi-English | भगवद गीता अध्याय 12: भक्ति योग
Bhagavad Gita Twelveth Chapter (भगवद गीता बारहवाँ अध्याय)
भगवद गीता बारहवाँ अध्याय "भक्ति योग" के नाम से प्रसिद्ध है। इसमें भगवान श्रीकृष्ण भक्ति को सबसे सरल और श्रेष्ठ मार्ग बताते हैं। वे कहते हैं कि जो भक्त पूर्ण श्रद्धा और प्रेम के साथ उनकी आराधना करता है, वह उनका प्रिय होता है। यह अध्याय "भक्ति की महिमा", "ईश्वर के प्रति प्रेम", और "सच्चे भक्त के गुण" का वर्णन करता है।Page no.
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Shrimad Bhagwad Gita Parayaan - Chapter 12 (श्रीमद्भगवद्गीता पारायण - द्वादशोऽध्यायः)
श्रीमद्भगवद्गीता पारायण के द्वादशोऽध्याय में कृष्ण ने अर्जुन को भक्ति योग की महत्ता और इसके साधनों के बारे में समझाया है।Shrimad-Bhagwad-Gita-Parayaan
Srimad Bhagwad Gita Chapter 18 (श्रीमद्भगवद्गीता मूलम् - अष्टादशोऽध्यायः)
श्रीमद्भगवद्गीता मूलम् - अष्टादशोऽध्यायः भगवद्गीता का 18वां अध्याय है जो मुक्ति और कर्म योग की महिमा का वर्णन करता है। यह अध्याय भगवान कृष्ण और अर्जुन के बीच संवाद के रूप में प्रस्तुत किया गया है।Bhagwat-Gita
Shri Krishnan Chalisa (श्री कृष्णन चालीसा)
कृष्ण चालीसा एक भक्ति गीत है जो भगवान कृष्ण पर आधारित है। कृष्ण चालीसा एक लोकप्रिय प्रार्थना है जो 40 छन्दों से बनी है। कई लोग जन्माष्टमी सहित भगवान कृष्ण को समर्पित अन्य त्योहारों पर कृष्ण चालीसा का पाठ करते हैं। इस चालीसा के पाठ से भक्तों को spiritual peace और blessings मिलती हैं। Krishna mantra for positivity का जाप जीवन में love और prosperity लाने का एक प्रभावी उपाय है।Chalisa
Murari Stuti (मुरारि स्तुति)
Shri Murari Stuti (मुरारि स्तुति) का पाठ प्रातःकाल या संध्या के समय peaceful और spiritual atmosphere में करना श्रेष्ठ माना जाता है। इसे Shri Krishna की idol या image के सामने बैठकर गाया जा सकता है। पाठ करने से पहले मन को शांत करें और Lord Krishna के divine form का ध्यान करें। भक्त इसे soft voice में या with music भी गा सकते हैं। Murari Stuti का गायन करने से भक्तों के हृदय में deep devotion और love for Lord Krishna उत्पन्न होता है। ऐसा माना जाता है कि इस स्तुति का नियमित recitation करने से व्यक्ति को mental peace मिलती है और divine blessings प्राप्त होते हैं। यह स्तुति positive energy को बढ़ाती है और व्यक्ति को spiritual path पर प्रेरित करती है। जो भक्त regularly इस स्तुति का पाठ करते हैं, उनके जीवन से अनेक प्रकार के sufferings दूर हो जाते हैं और वे divine grace प्राप्त करते हैं।Stuti
Shri Krishna Ashtakam Stotra (श्रीकृष्णाष्टकम्)
Shri krishna Ashtakam: श्रीरीकृष्ण को भगवान विष्णु का आठवां अवतार माना जाता है। पुराणों के अनुसार इनका जन्म द्वापर युग में माना गया है। भगवान कृष्ण को प्रसन्न करने के लिए लोग उनकी पूजा करते है उन्हे माखन खिलाते है। इन्हे श्रीकृष्ण अष्टकम् का पाठ करके भी प्रसन्न किया जा सकता है। रोज श्रीकृष्ण अष्टकम पढ़ने पर विशेष पुण्य लाभ मिलता है। भगवान के इस पाठ को करने वाले मनुष्य का जीवन में कभी कोई कार्य नहीं रुकता और उसे हमेशा विजय की प्राप्ति होती है। नियमित रूप से यदि कोई व्यक्ति श्रीकृष्ण अष्टक का पाठ करता है तो भगवान उस पर अपनी कृपा दृष्टी बनाएं रखते है और वह हमेशा विजयी रहता है।Stotra
Shri Gopal Chalisa (श्री गोपाल चालीसा)
गोपाल चालीसा एक भक्ति गीत है जो भगवान गोपाल पर आधारित है। गोपाल भगवान कृष्ण का ही एक और नाम है। गोपाल का अर्थ है गौ रक्षक। Gopal Chalisa का जाप भगवान गोपाल की कृपा और आशीर्वाद प्राप्त करने का एक महत्वपूर्ण तरीका है। इसे विशेष रूप से Krishna devotion और protection from evils के लिए पढ़ा जाता है।Chalisa
Shri Krishna Vandana (श्री कृष्ण वंदना)
श्री कृष्ण वंदना भगवान कृष्ण के गुणों और लीलाओं की प्रशंसा में गाई जाने वाली स्तुति है। इसमें भगवान के दिव्य प्रेम, ज्ञान, और धैर्य की महिमा का वर्णन किया गया है। यह वंदना "भक्ति" और "आध्यात्मिक प्रेरणा" का अद्भुत स्रोत है।Vandana
Gita govindam Pratham Sargaah - Samoda Damodarah (गीतगोविन्दं प्रथमः सर्गः - सामोद दामोदरः)
गीतगोविन्दं के प्रथम सर्ग में सामोद दामोदर का वर्णन किया गया है। यह खंड राधा और कृष्ण की प्रेमकथा और उनके मधुर संबंधों को दर्शाता है।Gita-Govindam